विनीत कुमार/ दानिश( दानिश सिद्दिकी) को तो आप नहीं ही भूले होंगे न जिसकी नज़र और कैमरे ने कोविड के दौरान का सच दुनिया के सामने रखा और साल 2021 में तालिबान और अफगानिस्तान के सुरक्षा बलों की झड़प के बीच कवरेज के दौरान उनकी मौत हो गयी ? जामिया मिलिया इस्लामिया, नई दिल्ली के अर्थशास्त्र(बीए) और जनसंचार(एमए) के इस छात्र ने पत्रकारिता की दुनिया में ऐसा मक़ाम हासिल किया कि पुल्तिज़र सम्मान से नवाज़ा गया. आज उनके काम की मिसाल पूरी दुनिया में दी जाती है.
रॉयटर, दुनिया के अग्रणी मीडिया संस्थान ने जिनके लिए दानिश काम किया करते, उनके काम और इक़बाल को बुलंद रखने के इरादे से उनके नाम पर बारह महीने की फोटो जर्नलिज्म इन्टर्नशिप की शुरुआत की है. जो भी फोटो पत्रकारिता के क्षेत्र में आगे जाना चाहते हैं, उनके लिए यह इन्टर्नशिप पाना एक बड़ी उपलब्धि होगी. इस दौरान उन्हें आर्थिक सहयोग भी किया जाएगा. यह पेड इन्टर्नशिप है.
अपने संस्थान के लिए काम करनेवाले पत्रकार की याद बरक़रार रखने का इससे सुंदर और रचनात्मक तरीका और क्या हो सकता है ? ऐसे दौर में जबकि पत्रकार क्या, सौ-सवा सौ साल की पत्रकारिता और उसकी थाती को एक झटके में भुला दिए जाने, ग़ैरज़रूरी क़रार देने की तत्परता दिखाई देती हो, ऐसे में रॉयटर की यह पहल तारीफ़ के लायक है ही. एक मीडिया संस्थान को अपने यहां के पत्रकारों के नाम पर इन्टर्नशिप/फेलोशिप की पहल करना, उनके काम के महत्व को रेखांकित करना है. अफ़सोस कि बाक़ी के संस्थान ऐसा करना तो दूर, हमेशा के लिए दूर जा चुके पत्रकार को याद तक नहीं करते.
आप यदि इस इन्टर्नशिप को लेकर इच्छुक हों तो नीचे दी गयी लिंक पर चटका लगाकर पूरी जानकारी ले सकते हैं. आवेदन संबंधी लिंक भी वहीं मौज़ूद है.
https://www.reutersagency.com/.../reuters-establishes.../
स्क्रीनशॉटः रॉयटर
विनीत कुमार के फेसबुक वाल से साभार